बंगाल में फिर SIR के डर में आत्महत्या की खबर सामने आयी है। इस बार उत्तर 24 परगना जिले के दमदम में ऐसी घटना घटी। मृतक का नाम वैद्यनाथ हाजरा है। वह दक्षिण दमदम नगरपालिका के 9 नंबर वार्ड के आरएन गुप्ता रोड के रहने वाला था। परिवार का दावा है कि 2002 के वोटर सूची में उसका नाम न होने के कारण डर के चलते उसने आत्महत्या की।
परिवार की शिकायत क्या है:
परिवार का दावा है कि 2002 के मतदाता सूची में वैद्यनाथ हाजरा का नाम नहीं था। इसके बारे में वे कुछ दिनों से चिंतित थे। यह चिंता और बढ़ गई जब 2002 की सूची में वैद्यनाथ के माता-पिता के नाम भी नहीं है। उनकी पत्नी का कहना है कि एसआईआर को लेकर चिंता में वे कुछ दिनों से मानसिक अवसाद में थे। रविवार की देर रात अचानक वे घर से बाहर चले गए। परिवार की ओर से बताया गया है कि रविवार रात 2 बजे के बाद ही वैद्यनाथ घर से बाहर गए, उस समय उन्होंने मोबाइल फोन भी नहीं लिया।
घर से बाहर निकलने का सीसीटीवी फुटेज मौजूद है। परिवार ने बताया कि मोबाइल फोन न लेने के कारण उनसे संपर्क करना संभव नहीं हो रहा था। इसके बाद वैद्यनाथ की पत्नी पुलिस के पास गईं। इसी बीच सोमवार सुबह दमदम के आरएन गुहा रोड के पास एक पेड़ से वैद्यनाथ का लटकता हुआ शव मिला। तुरंत ही नागेरबाजार थाने को इसकी जानकारी दी गई। पुलिस ने शव को बरामद कर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
मृतक की पत्नी की शिकायत:
मृतक की पत्नी जयन्ती हजरा की शिकायत कि उनके पति वैद्यनाथ हजरा SIR को लेकर बेहद आतंकित थे। इस घटना के पीछे उन्होंने वही आतंक को जिम्मेदार ठहराया। उस दंपती के 2 बच्चे हैं, बड़ा बेटा कॉलेज के पहले साल में पढ़ रहा है। बेटी पांचवीं कक्षा की छात्रा है। घटना के बारे में बताते हुए उनके बचपन के दोस्त राजू साहा रो पड़े। उनकी शिकायत है कि SIR को लेकर बहुत चिंता में थे।
वहीं दूसरी ओर विधाननगर नगरपालिका के 9 नंबर वार्ड के देशबंधु नगर से भी SIR के आतंक के कारण आत्महत्या के प्रयास की शिकायत सामने आई है। उस क्षेत्र के निवासी पेशे से व्यवसायी सुकुमार घोष (45) आत्महत्या का प्रयास किया। उसे देशबंधु नगर अस्पताल में भर्ती कराया गया है।