🔔 ताज़ा ख़बरें सबसे पहले!

Samachar EiSamay की ब्रेकिंग न्यूज़, राजनीति, खेल, मनोरंजन और बिज़नेस अपडेट अब सीधे आपके पास।

ट्रैफिक कानून तोड़ा तो हाथों-हाथ लड्डू-गुलाब, सिलीगुड़ी में दिखी पुलिस की गांधीगिरी

एक मोटरसाइकिल चालक को कहते सुना गया, 'बाइक ससुराल से मिली है। हेलमेट खरीदने के पैसे नहीं हैं।'

By अभिरूप दत्ता, Posted by: लखन भारती

Dec 15, 2025 21:59 IST

अनियंत्रित वाहन आवागमन रोकने के लिए पुलिस ने लगातार अभियान चला रही है। बार-बार ड्राइवरों को पकड़ा गया, उनका जुर्माना लगाया गया। चलान भी काटा जा रहा है। अनियंत्रित वाहन आवागमन रोकने के लिए सिलीगुड़ी पुलिस लगातार अभियान चला रही है, लेकिन अच्छा परिणाम नहीं मिल रहा है। अब इसलिए पुलिस ने थोड़ा अलग रास्ता अपनाया। चलान काटने के बजाय सोमवार को सिलीगुड़ी पुलिस के हाथों में फूल-मीठाई और चॉकलेट देखा गया। सिलीगुड़ी शहर की सड़कों पर पुलिस वालों ने कानून तोड़ने वाले ड्राइवरों को रोककर उनके हाथों में फूल और लड्डू थमाए। सोमवार को ईस्टर्न बाईपास पर ऐसा ही नजारा देखा गया।

आशिघर ट्रैफिक गार्ड की ओर से ईस्टर्न बाइपास पर विशेष अभियान चलाया गया। हेलमेट के बिना बाइक चलाने वाले और सीटबेल्ट के बिना गाड़ी चलाने वालों को रोककर ट्रैफिक पुलिस कर्मचारी उन्हें फूल और मिठाई देते दिखाई दिए।

उपहार’ पाकर चालकों ने क्या कहा ?

सोमवार दोपहर लगभग 12 बजे। बनेश्वर मोड़ की ओर से आशिघर मोड़ की ओर एक मोटरबाइक जा रही थी। उस पर तीन युवक सवार थे। जब पुलिस ने बाइक रोक दी, तो चालक विकास राय डर गया लेकिन उसके बाद एक पुलिसकर्मी ने उनके हाथ में गुलाब दिया और एक पुलिस वाला उसके हाथ में लड्डू थमा दिया। एक पुलिसकर्मी ने कहा, ‘आप लोग नियम तोड़कर तीन लोग हेलमेट बिना बाइक पर बैठ गए हैं। इसलिए आपको मिठाई दी जा रही है।’ यह सुनकर उन्होंने हेलमेट पहनने का वादा किया। एक महिला स्कूटी चालक बिना हेलमेट के गाड़ी चला रही थीं। उस समय उन्हें रोका गया और उनके हाथ में सूर्यमुखी और लाल गुलाब का फूल दिया गया। एक महिला सिविक वॉलेंटियर ने उन्हें चॉकलेट और लड्डू खिलाए। दृश्य में उस चालक की आंखों और चेहरे पर असहजता दिख रही थी। उन्होंने कहा, ‘हेलमेट पकड़ में रखा था, अब ही सिर पर पहन रही हूँ, पुलिस जो कर रही है, वह हमारे भले के लिए कर रही है।’

इस दिन पुलिस की गतिविधियों के बीच और भी आश्चर्य देखने को मिला। जब एक युवक से हेलमेट नहीं लगाने का कारण पूछा गया, तो उन्होंने कहा, ‘बाइक ससुराल से मिली है। हेलमेट खरीदने के पैसे नहीं हैं।’ इस दिन पुलिस के अभियान को देखने के लिए कई लोग मौके पर इकट्ठा हुए। उनमें से एक बासुदेव मुखर्जी कहते हैं, ‘इसके बावजूद अगर उन्हें शर्म नहीं आती तो और कुछ कहने की जरूरत नहीं है।’ पुलिस के अनुसार सोमवार को दिनभर 140 से अधिक लोगों को शुभकामनाएँ दी गईं।

Prev Article
कितनी भी मांग लें माफी, पर इसकी कोई क्षमा नहीं - 'बंकिमदा' मुद्दे पर ममता बनर्जी ने पीएम मोदी को घेरा

Articles you may like: