एई समय, बहराइचः उत्तर प्रदेश के बहराइच जिले के बहोरवा गांव में एक बार फिर भेड़िये का आतंक देखने को मिला है। गुरुवार रात गांव में एक तीन महीने के शिशु को भेड़िया घर से उठाकर ले गया। सुबह गन्ने के खेत में उसका शव बरामद हुआ। घटना से पूरे इलाके में दहशत का माहौल है।
स्थानीय निवासियों के अनुसार, गुरुवार रात एक महिला अपने तीन महीने के शिशु को लेकर घर के बरामदे में सो रही थी। रात के अंधेरे में एक भेड़िया आया और शिशु को खींचकर ले गया। मां की चीख-पुकार सुनकर आसपास के लोग मौके पर पहुंचे और रातभर बच्चे की तलाश की गई। लेकिन कोई सफलता नहीं मिली। शुक्रवार सुबह गांव के पास स्थित गन्ने के खेत में शिशु का शव मिला।
यह घटना क्षेत्र में भेड़िये द्वारा किए गए हमलों की कड़ी में दूसरी बड़ी घटना है। लगभग एक सप्ताह पहले इसी इलाके में भेड़िये के हमले में सात साल की एक बच्ची की मौत हो गई थी। ग्रामीणों का कहना है कि प्रशासन और वन विभाग की उदासीनता के कारण घटनाएं रुक नहीं रही हैं। पिछले वर्ष भी बहराइच जिले में भेड़ियों के झुंड ने हमला कर कम से कम छह लोगों की जान ली थी और कई लोग गंभीर रूप से घायल हुए थे। बावजूद इसके, भेड़ियों पर नियंत्रण के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाए गए हैं।
वन विभाग की ओर से अब तक कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है। हालांकि, नाम न छापने की शर्त पर एक वन अधिकारी ने बताया कि सामान्यतः भेड़िये मानवभक्षी नहीं होते, लेकिन लगातार हो रहे हमले चिंता का विषय हैं। विभाग की टीमें मौके पर जांच कर रही हैं।
गौरतलब है कि बहराइच, नेपाल सीमा से सटा हुआ इलाका है और यहां वन्यजीवों की आवाजाही सामान्य बात मानी जाती है। यही कारण है कि मानवीय बस्तियों में वन्यजीवों के घुसपैठ की घटनाएं बढ़ती जा रही हैं। प्रासंगिक है कि इसी वर्ष जून महीने में बहराइच में एक तेंदुए ने घर की छत पर सो रही महिला पर हमला कर दिया था, जिसमें महिला की मौत हो गई थी। ग्रामीणों ने प्रशासन से इलाके में गश्त बढ़ाने और भेड़िये के आतंक को रोकने के लिए त्वरित और सख्त कदम उठाने की मांग की है।