राष्ट्रीय टीम में मोहम्मद शमी का भविष्य क्या है ? क्या वे मैदान में दिखाई देंगे ? यह सवाल बार-बार घूम रहा है। चोट के कारण बाहर होने के बाद चयनकर्ताओं ने उन्हें नहीं बुलाया है। घरेलू क्रिकेट में अच्छा प्रदर्शन करने के बावजूद किसी कारण से उन्हें मौका नहीं दिया गया है। रणजी ट्रॉफी के लगातार दो मैचों में क्रमशः सात और आठ विकेट लेने के बाद भी चयनकर्ता चुप हैं। रणजी ट्रॉफी के मैच के बाद चयन समिति के सदस्य आरपी सिंह से बातचीत के बावजूद दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ टेस्ट सीरिज में मौका नहीं मिला। इसको लेकर इस बार चयनकर्ता अजित अगरकर सहित चयन समिति के सभी सदस्यों पर मोहम्मद शमी के व्यक्तिगत कोच मोहम्मद बदरुद्दीन ने कड़े शब्दों में हमला किया है।
इंडिया टुडे को दिए गए साक्षात्कार में बदरुद्दीन ने कहा, 'वे शमी से बच रहे हैं यह स्पष्ट है। इसके अलावा कोई और कारण नहीं हो सकता। वह अनफिट नहीं है, जब एक खिलाड़ी टेस्ट खेलकर दो मैचों में 15 विकेट लेता है तो वह अनफिट नहीं होता। चयनकर्ता उससे बच रहे हैं। वे ऐसा क्यों कर रहे हैं यह चयनकर्ता ही बता सकते हैं।'
बदरुद्दीन ने बताया कि अजित अगरकर के पैनल ने पहले से ही शमी को नहीं खिलाने का फैसला कर लिया है। 35 वर्षीय शमी को पहले भारत ए टीम के खिलाफ सीरिज में मौका नहीं मिला, इसके बाद टेस्ट सीरिज में भी मौका नहीं मिला। बदरुद्दीन ने कहा, 'चयनकर्ताओं ने तय कर लिया है कि शमी को टीम में नहीं लेंगे। मेरे अनुसार यह गलत है। टेस्ट टीम रणजी में प्रदर्शन देखकर बनानी चाहिए। टी-ट्वेंटी देखकर टेस्ट टीम का चयन नहीं करना चाहिए। फिटनेस और प्रदर्शन के बारे में जो कहा जा रहा है वे बहाने हैं। शमी के बारे में पहले से ही फैसला कर लिया गया है।'
इस साल 9 मार्च को शमी ने देश की जर्सी में आखिरी बार खेला था। चैंपियंस ट्रॉफी फाइनल में उतरे थे। चैंपियंस ट्रॉफी में पांच मैच खेलकर नौ विकेट लेकर दूसरे सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाज भी बने थे।
घरेलू क्रिकेट के बाद शमी आईपीएल में उतरेंगे। हालांकि इस बार सनराइजर्स हैदराबाद उन्हें नहीं रख सकती। उस स्थिति में शमी आईपीएल की मिनी नीलामी में शामिल होंगे।