दुर्गापूजा के शुरू हो रही है। महानगर कोलकाता व आसपास के इलाकों के अलग-अलग दुर्गापूजा (Durga Puja) पंडाल अपनी-अपनी तैयारियों में पूरी तरह से जुट चुके हैं। इसी क्रम में आगरपाड़ा तारापुकुर आदि सार्वजनिन दुर्गोत्सव कमेटी के घोषपाड़ा मिलन संघ ने इस साल के सर्वाधिक चर्चित घटना के आधार पर ही पंडाल निर्माण करने का फैसला लिया है।
देख सकेंगे महाकुंभ की भव्यता
घोषपाड़ा मिलन संघ के दुर्गापूजा पंडाल का इस साल का थीम महाकुंभ मेला है। मीडिया से बात करते हुए कमेटी के एक सदस्य माना बाणिक ने बताया कि हमने सोचा, क्यों न कुंभ मेले को ही यहां लाया जाए। इस पंडाल में कुंभ मेला से लेकर महास्नान समेत हर उस घटना का जिक्र किया जा रहा है, जो महाकुंभ मेले का आकर्षण रहा है।
जो लोग किसी भी कारणवश इस साल जनवरी में उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ मेले में नहीं जा सकें थे, उन्हें इस मेले के इतिहास और महत्व से रू-ब-रू होने का मौका दुर्गापूजा पंडाल में ही मिल जाएगा। इसके साथ ही दर्शक महाकुंभ की भव्यता का अनुभव भी यहां कर सकेंगे।
साधु-सन्यासी और देवी दुर्गा
इस पंडाल व थीम से जुड़े सम्राट भट्टाचार्य ने मीडिया से कहा कि इस साल का महत्व काफी ज्यादा है क्योंकि इस साल महाकुंभ मेले का आयोजन हुआ। हमें पता है कि काफी लोग महाकुंभ मेले में नहीं जा सकें थे। इस वजह से ही हमने सोचा कि क्यों न इस साल यहीं मेले जैसा आयोजन हो।
पंडाल की साज-सज्जा में इस्तेमाल होने वाले साधु-सन्यासियों के सभी मॉडल सिलीकॉन से बनाए गये हैं। सिर्फ इतना ही नहीं, मां दुर्गा की प्रतिमा को भी इस साल सिलीकॉन से ही बनाया गया है।
गौरतलब है कि इस साल प्रयागराज में आयोजित हुआ महाकुंभ का मेला बड़ा ही विशेष था, जो 144 सालों बाद आयोजित हुआ था।