नयी दिल्लीः हाल ही में एक टीवी बहस में भाजपा नेता गौरव भाटिया को कुर्ते के नीचे केवल अंडरवियर पहने हुए देखे जाने के मामले ने तूल पकड़ लिया है। वह वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हुआ और उस पर काफी हंसी-मजाक भी हुआ। इस मामले को लेकर भाटिया ने दिल्ली हाईकोर्ट में मानहानि का मुकदमा दायर कर दिया है।
शुक्रवार को दिल्ली हाईकोर्ट ने मामले की सुनवाई करते हुए भाजपा नेता गौरव भाटिया को स्पष्ट रूप कहा कि सार्वजनिक या राजनीतिक व्यक्तित्वों को मानहानि के दावों की सीमा और विस्तृत होनी चाहिए क्योंकि इस तरह के व्यक्ति विभिन्न प्लेटफॉर्म का उपयोग करके अपने खिलाफ उठने वाली आलोचनाओं का जवाब दे सकते हैं।
दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा कि राजनीति में शामिल व्यक्ति मोटी चमड़ी वाला होना चाहिए। व्यंग्य और मानहानि में अंतर करना जरूरी है। न्यायमूर्ति अमित बंसल के पीठ कहा कि जब आप राजनीति में होते हैं तो आपको मोटी चमड़ी का होना पड़ता है। हमें यह पता लगाना होगा कि क्या व्यंग्यात्मक है और क्या अपमानजनक।
भाटिया ने समाजवादी पार्टी के मीडिया सेल, पत्रकार अभिसार शर्मा, राजनेता रागिनी नायक और सौरभ भरद्वाज सहित 12 व्यक्तियों और संस्थाओं के खिलाफ मुकदमा दायर किया था। BJP नेता ने आरोप लगाया था कि ये लोग सोशल मीडिया पर वह वीडियो फैलाकर सार्वजनिक रूप से उनकी मानहानि और छवि खराब करने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने मुआवजे के रूप में 2 करोड़ रुपये की मांग की थी।
अदालत ने अभियुक्तों के खिलाफ कोई कार्रवाई तो नहीं की, लेकिन उन्हें 24 घंटे के भीतर विवादास्पद सामग्री को हटाने का निर्देश दिया। न्यायमूर्ति अमित बंसल की बेंच ने कहा कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के नाम पर किसी को अश्लील या यौन संकेतों वाली भाषा का इस्तेमाल करके आक्रमण करना किसी भी तरह से स्वीकार्य नहीं है।
हालांकि, अदालत ने 'न्यूजलॉन्ड्री' जैसे कुछ मीडिया आउटलेट्स के पोस्ट हटाने का निर्देश देने से इनकार कर दिया। अदालत के अनुसार, वे व्यंग्यात्मक और हास्यरसपूर्ण हैं। अदालत ने यह भी कहा कि गौरव भाटिया के खिलाफ जो आपत्तिजनक पोस्ट बनाए गए हैं, वे उनके अपने टीवी शो में उस तरह से उपस्थित होने के कारण ही हुए हैं। इसके लिए चैनल को जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता।
इस घटना की शुरुआत 12 सितंबर को हुई थी। गौरव भाटिया न्यूज18 के एक डिबेट शो में हिस्सा ले रहे थे। आरोप है कि वहां उनके ऊपरी हिस्से में कुर्ता था, लेकिन नीचे कोई पैंट या पायजामा नहीं था।स्वाभाविक रूप से इस वीडियो ने सोशल मीडिया पर तूफान ला दिया।
गौरव भाटिया के वकील का दावा है कि उन्होंने नीचे अंडरवियर नहीं बल्कि शॉर्ट्स पहने थे। कैमरामैन ने असावधानीवश उनके शरीर के निचले हिस्से को कैमरे में कैद कर लिया था। उन्होंने यह भी बताया कि उनकी प्राथमिक शिकायत समाजवादी पार्टी के मीडिया सेल के खिलाफ है। उल्लेखनीय है कि BJP में शामिल होने से पहले गौरव समाजवादी पार्टी में थे। इस मामले की अगली सुनवाई 19 नवंबर को होगी।