पिछले कुछ सालों की तरह ही इस साल भी दिल्ली में वायु प्रदूषण लगातार खतरनाक स्तर पर बना हुआ है। मीडिया रिपोर्ट्स से मिली जानकारी के अनुसार दिल्ली का औसत एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 400 के आंकड़े पर पहुंच चुका है। केंद्रीय वायु प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) की ओर से बताया गया है कि हवा की गति कम होने और तापमान में लगातार हो रही गिरावट की वजह से दिल्ली की हवाएं और भी अधिक प्रदूषित हो रही हैं। इस वजह से दिल्लीवालों को सांस लेने में तकलीफ और आंखों में जलन जैसी समस्याएं भी होने लगी हैं।
कहां कितना है AQI?
CPCB से मिली जानकारी के अनुसार दिल्ली के कई इलाकों का AQI 400 या उससे ज्यादा दर्ज किया गया है। इसके अलावा कुछ इलाकों में AQI का स्तर थोड़ा कम जरूर है, लेकिन वह भी खतरनाक स्तर पर बना हुआ है।
वजीरपुर - 477
आर के पुरम - 424
पंजाबी बाग - 441
मुंडका - 441
जहांगीरपुरी - 453
बुरारी क्रॉसिंग - 410
बवाना - 443
IGI एयरपोर्ट T-3 - 373
जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम - 392
मंदिर मार्ग - 375
पुसा - 377
लोधी रोड - 269
आनंद विहार - 42
CPCB के मुताबिक यदि AQI 401-400 के बीच होता है तो उसे 'खतरनाक' स्तर का माना जाता है। 300 से 400 तक का AQI 'बहुत खराब' और 201 से 300 तक का AQI 'खराब' स्तर का होता है। 101 से 200 के बीच का AQI 'मध्यम' और अगर AQI का स्तर 51 से 100 के बीच होता है तो उसे 'संतोषजनक' माना जाता है। 0 से 50 के बीच का AQI 'अच्छा' माना जाता है।
अर्थ साइंस मंत्रालय की 'एयर क्वालिटी अर्ली वार्निंग सिस्टम' की ओर से बताया गया है कि अगले 6 दिनों तक दिल्ली में हवा की गुणवत्ता बहुत खराब से खतरनाक के बीच बनी रहने की ही संभावना है। साथ ही स्थिति के और भी बिगड़ने और AQI के और भी बढ़ने की संभावनाओं से भी इनकार नहीं किया जा सकता है। पुणे इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ ट्रॉपिकल मेटियोरोलॉजी की तरफ से बताया गया है कि बुधवार को दिल्ली के औसत प्रदूषण में लगभग 18 प्रतिशत गाड़ियों का धुआं और 3.8 प्रतिशत प्रदूषण पराली जलाने की वजह से आयी थी। गुरुवार को प्रदूषण के स्तर में थोड़ी कमी आयी और यह क्रमशः 16.1 प्रतिशत और 2 प्रतिशत हुई।