कोर्ट के आदेश पर नौकरी गंवाने वाली शिक्षिका की तमलुक में हुई मौत, रहने लगी थी बीमार

परिवार के सदस्यों का दावा है कि इसके बाद से वह मानसिक रूप से टूट गयी थी। अर्पिता के पड़ोसी का दावा है कि अदालत के आदेश पर नौकरी खोने के बाद से ही वह बीमार रहने लगी थी।

By Moumita Bhattacharya

Oct 04, 2025 18:17 IST

अदालत के आदेश पर नौकरी गंवाने वाली तमलुक की शिक्षिका ने कोलकाता के अस्पताल में आखिरकार दम तोड़ दिया। बताया जाता है कि नौकरी गंवाने की वजह से वह पिछले लंबे समय से मानसिक अवसाद से ग्रसित और बीमार पड़ गयी थी। मृतका का नाम अर्पिता दास माइति (35) बताया जाता है। मिली जानकारी के अनुसार वह पिछले लगभग 7 सालों से पूर्व मेदिनीपुर जिले के तमलुक के डहरपुर तफसिली हाई स्कूल में 11वीं-12वीं स्तर की शिक्षिका थी।

साल 2016 में स्कूल सर्विस कमिशन (SSC) की नियुक्ति के पूरे पैनल को ही सुप्रीम कोर्ट ने रद्द करने का आदेश दिया था। उस समय अर्पिता ने भी अपनी नौकरी गंवा दी थी। अदालत का निर्देश था कि जिनका नाम 'टेंडेड' सूची में होगा, उनको फिर से होने वाली परीक्षा में बैठने नहीं दिया जाएगा। अर्पिता के एक पड़ोसी ने दावा किया कि साल 2025 में एसएससी की नियुक्ति के लिए हुई परीक्षा के लिए उसने भी फॉर्म भरा था। लेकिन उसका एडमीट कार्ड ही रद्द कर दिया गया था।

परिवार के सदस्यों का दावा है कि इसके बाद से वह मानसिक रूप से टूट गयी थी। अर्पिता के पड़ोसी सुजय कुमार माइति का दावा है कि अदालत के आदेश पर नौकरी खोने के बाद से ही वह बीमार रहने लगी थी। वहीं अर्पिता के ससुर नित्यानंद माइति ने बताया कि नौकरी खोने के बाद ही उनकी बहू बीमार पड़ गयी थी। उसे न्यूरोलॉजिकल समस्याएं शुरू हो गयी थी। कलकत्ता मेडिकल कॉलेज व अस्पताल में वह चिकित्साधिन थी। लेकिन शुक्रवार की रात को उनकी मृत्यु हो गयी।

तमलुक नगर निकाय के काउंसिलर व स्कूल परिचालन कमेटी के पूर्व सदस्य चंचल खांड़ा का कहना है कि इलाके में बतौर शिक्षिका वह काफी मशहूर थी। यह खबर सुनने के बाद बहुत बुरा लगा। शिक्षिका की मृत्यु से इलाके में शोक छाया हुआ है।

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