दिल्ली धमाकों की गूंज से एक बार फिर पुलवामा धमाके की याद ताजा हो गयी। तेजस्वी यादव ने केंद्र सरकार की ओर इशारा करते हुए सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल उठाया। बिहार में अंतिम चरण का मतदान हो रहा है। उत्साह से भरा बिहार बीते शाम को दिल्ली में लाल किले के पास हुए कार धमाके की घटना से हिल गया। मेट्रो शहरों में रेड अलर्ट जारी किया गया है। घटना के बाद सवाल उठने लगे हैं कि क्या दिल्ली धमाका बिहार चुनावों पर असर डालेगा?
पुलवामा विस्फोट की यादें ताजा हो गयीं
2019 में लोकसभा चुनाव से पहले पुलवामा में विस्फोट हुआ था। 41 सैनिकों की मौत पर पूरा देश गुस्से में था। इसके बाद पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर के बालाकोट में भारत ने एयर स्ट्राइक की थी। उस समय सैनिकों के इस ऑपरेशन का क्रेडिट लेने को लेकर बीजेपी पर आरोप लगे थे। NDA ने लोकसभा चुनाव में भारी जीत हासिल की थी।
तेजस्वी यादव का रुख
रविवार को मतदान प्रचार का समय समाप्त हो गया और बिहार में निर्वाचन आचार संहिता लागू हो गई। लेकिन आरजेडी नेता और महागठबंधन के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार तेजस्वी यादव ने अपने एक्स हैंडल पर पोस्ट किया है जिसमें उन्होंने कहा है,"और कितने दिन आतंक के डर में देशवासी रहेंगे?" वे मृतकों के परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त कर चुके हैं और घायल लोगों की शीघ्र स्वास्थ्यलाभ की कामना भी की। इसी के साथ उन्होंने निहित रूप से केंद्र सरकार की सुरक्षा नीति पर तंज कसा।
महुआ हमारे नाम से जाना जाता हैःतेज प्रताप
इधर, जनता शक्ति जनता दल (JJD) के प्रमुख और महुआ सीट से उम्मीदवार तेज प्रताप यादव ने महुआ विधानसभा क्षेत्र से अपनी जीत को लेकर भरोसा जताया, जहां पहले चरण में मतदान हुआ। पटना में पत्रकारों से बात करते हुए यादव ने कहा, "महुआ हमारे नाम से जाना जाता है और किसी के नाम से नहीं। मैं खुद को महुआ में नंबर 1 देखता हूँ (महुआ सीट जीतता हुआ)।" तेज प्रताप यादव महुआ विधानसभा क्षेत्र से चुनावी मैदान में थे।
राष्ट्रवादी जनता दल (RJD) ने इस सीट से प्रेम कुमार को उम्मीदवार बनाया था। तेज प्रताप पहले 2015 में इस सीट से RJD के उम्मीदवार के रूप में प्रतिनिधित्व कर चुके हैं। उन्होंने आगे कहा कि बिहार में 14 नवंबर को बदलाव देखने को मिलेगा, जिस दिन बिहार विधानसभा चुनावों के परिणाम घोषित होंगे। "महिलाएं बड़ी संख्या में वोट दे रही हैं। बदलाव आएगा। लोग हमें 14 नवंबर को बताएंगे कि किसने कौन सा विकास किया।"
बिहार में दूसरे चरण के विधानसभा मतदान में 1 बजे तक 47.62 प्रतिशत वोटिंग दर्ज की गई है, यह आंकड़ा भारत निर्वाचन आयोग ने जारी किया। मतदान 20 जिलों की 122 विधानसभा सीटों पर सख्त सुरक्षा व्यवस्था के बीच जारी था।
दिल्ली धमाका और बिहार चुनाव पर असर
राजनीतिक विश्लेषकों के एक हिस्से का मानना है कि बिहार के सीमावर्ती क्षेत्रों में दिल्ली धमाके का प्रभाव पड़ सकता है। लेकिन अधिकांश हिस्सों में इसका असर अपेक्षाकृत कम रहेगा। मुख्य सवाल सुरक्षा से जुड़ा है। लेकिन बिहार में स्थानीय मुद्दे ही चुनाव को प्रभावित करेंगे। NDA और महागठबंधन मुख्य रूप से मताधिकार चोरी, रोजगार और महिला सशक्तिकरण जैसे विषयों पर जोर दे रहे हैं। यही मुद्दे प्रचार का केंद्र रहे हैं।