पटनाः मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई बिहार कैबिनेट की बैठक में राज्य सरकार ने महत्वाकांक्षी ‘सात निश्चय-3’ कार्यक्रम को मंजूरी दे दी। यह कार्यक्रम वर्ष 2025 से 2030 तक लागू होगा और इसका उद्देश्य बिहार को देश के सबसे विकसित राज्यों की श्रेणी में शामिल करना है।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर जानकारी देते हुए कहा कि सात निश्चय-1 (2015-20) और सात निश्चय-2 (2020-25) की तरह यह तीसरा चरण भी न्याय के साथ विकास की अवधारणा पर आधारित है। उन्होंने बताया कि इस कार्यक्रम के तहत दोगुना रोजगार, दोगुनी आय, सशक्त उद्योग, कृषि में प्रगति, गुणवत्तापूर्ण शिक्षा, सुलभ स्वास्थ्य सेवाएं और सभी के लिए सम्मानजनक जीवन को प्राथमिकता दी जाएगी।
कैबिनेट सचिवालय विभाग के अपर मुख्य सचिव अरविंद कुमार चौधरी ने बताया कि सरकार का लक्ष्य बिहारवासियों की प्रति व्यक्ति औसत आय को दोगुना करना है। इसके लिए 2023 की जाति आधारित गणना में चिन्हित 94 लाख गरीब परिवारों को रोजगार उपलब्ध कराने पर विशेष फोकस किया जाएगा। पीटीआई की रिपोर्ट के मुताबिक, यह योजना मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना के तहत महिलाओं को दिए जा रहे 10 हजार रुपये और 2 लाख रुपये की अतिरिक्त सहायता के वादे के अलावा होगी। मुख्यमंत्री ने बताया कि अगले पांच वर्षों में एक करोड़ युवाओं के लिए रोजगार और नौकरी के अवसर सृजित करने का लक्ष्य रखा गया है। इस दिशा में युवा, रोजगार एवं कौशल विकास विभाग का गठन पहले ही किया जा चुका है।
शिक्षा और स्वास्थ्य में बड़े बदलाव
शिक्षा क्षेत्र में पुराने शैक्षणिक संस्थानों को ‘सेंटर ऑफ एक्सीलेंस’ के रूप में विकसित किया जाएगा और एक एजुकेशन सिटी की स्थापना की जाएगी। वहीं स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत करने के लिए ग्रामीण इलाकों में डॉक्टरों को विशेष प्रोत्साहन देने और सरकारी डॉक्टरों की निजी प्रैक्टिस पर रोक लगाने की नीति लाई जाएगी।
ब्लॉक स्तर के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों को स्पेशियलिटी अस्पताल और जिला अस्पतालों को सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल में बदला जाएगा, जिसमें सार्वजनिक-निजी भागीदारी (PPP) को बढ़ावा दिया जाएगा।
उद्योग, कृषि और निवेश पर जोर
बिहार को पूर्वी भारत का नया टेक हब बनाने और उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए तीन उच्चस्तरीय समितियों का गठन किया गया है। सरकार ने अगले पांच वर्षों में 50 लाख करोड़ रुपये के निजी निवेश का लक्ष्य तय किया है।
कृषि क्षेत्र में चौथे कृषि रोडमैप (2024-29) पर तेजी से काम होगा और मखाना रोडमैप तैयार कर किसानों की आय बढ़ाने पर जोर दिया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि आधुनिक तकनीक, नवाचार और संवेदनशील प्रशासन के जरिए आम लोगों के लिए ‘ईज ऑफ लिविंग’ सुनिश्चित किया जाएगा।