गंगासागर मेला और महाकुंभ दोनों बड़े धार्मिक आयोजन हैं, लेकिन मुख्य अंतर उनके स्थान, आवृत्ति और पैमाने में है। गंगासागर मेला हर साल मकर संक्रांति पर पश्चिम बंगाल के सागर द्वीप (गंगा-बंगाल की खाड़ी संगम) पर लगता है, जो कुंभ के बाद दूसरा सबसे बड़ा मेला है, जबकि महाकुंभ (जो कुंभ का ही एक बड़ा रूप है) केवल हर बार उत्तर प्रदेश के प्रयागराज (इलाहाबाद) में लगता है और यह विश्व का सबसे बड़ा धार्मिक समागम होता है, जिसमें लाखों-करोड़ों लोग आते हैं। हालांकि इस बार पश्चिम बंगाल का गंगासागर मेला किसी महाकुंभ से कम नहीं होगा। दक्षिण 24 परगना जिला पुलिस-प्रशासन का दावा है कि इस बार प्रयागराज में महाकुंभ नहीं होगा जिसकी वजह से गंगासागर में तीर्थयात्रियों की संख्या में ताबड़तोड़ बृद्धि होगी। अनुमान है कि इस बार गंगासागर मेले में लगभग एक करोड़ भक्तों का सैलाब उमड़ सकता है। इन तमाम चीजों को ध्यान में रखते हुए पुलिस-प्रशासन पूरी तरह से तैयारी कर रखी है। हालांकि प्रशासन के लिए मूड़ी गंगा भले ही एक चैलेंज है लेकिन अतिरिक्त व्यवस्था से किसी भी प्रकार की अड़चनें नहीं आएंगी। बुधवार को दक्षिण 24 परगना जिला प्रशासनिक कार्यालय में जिलाधिकारी अरविंद कुमार मीणा समेत पुलिस-प्रशासन के आलाधिकारियों ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर दावा किया कि तीर्थयात्रियों की सुविधा और सुरक्षा को लेकर पुलिस-प्रशासन तैयार है और हर चुनौतियों का सामना करने में सक्षम है। पिछले साल की तुलना में व्यवस्थाएं भी बढ़ाई गई हैं जैसे कि अतिरिक्त अस्थाई आवास, अतिरिक्त पेयजल, इंटरनेट, चिकित्सा, परिवहन, सीसीटीवी, ड्रोन, पुलिस, सरकारी सेवाकर्मी, वाचटावर, एक अतिरिक्त बस स्टैंड, समुद्र के तट पर विशेष इंतजाम, अतिरिक्त सुरक्षा व्यवस्था समेत जो भी बुनियादी सुविधाएं हैं, उसे पूरा किया जाएगा। जिलाधिकारी अरविंद कुमार मीणा ने दावा किया है कि इस बार अतिरिक्त तीर्थयात्रियों को एक सफल तीर्थ कराने में प्रशासन सफल होगा।
गंगासागर में होंगे कई धाम के दर्शनः
जिला प्रशासन के अनुसार गंगासागर में इस बार कई धाम का लोग दर्शन कर पाएंगे। हालांकि पिछले कई सालों से बंगाल के प्रमुख मंदिर अस्थाई तौर बनाए जा रहे हैं लेकिन इस बार मंदिरों की संख्या भी बढ़ेगी जिसमें एक जगन्नाथ धाम होगा।
गंगासागर में गंगा पर बनेगा पुल, हाल ही सीएम ममता बनर्जी की घोषणा, 5 जनवरी को शिलान्यास
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कोलकाता में एक सभा को संबोधित करते हुए बड़ा बयान दे चुकी हैं। उन्होंने खुद से गंगासागर पुल बनवाने की बात कही है। ममता बनर्जी का कहना है कि 'मुझे भारत से प्यार है, सभी धर्मों से प्यार है।' पुल के निर्माण पर लगभग 1700 करोड़ रुपए खर्च होंगे। पुल दो साल में बनकर तैयार हो जाएगा।